Course Duration
12 Hours
12 Hours
Videos
2 Hours/ Session
2 Hours/ Session
No. Of Sessions
6
6
Sessions per week
3
3
Language
Hindi
Eligibility
Anyone
Anyone
Schedule of Classes
Starts on
-
7:00 PM - 9:00 PM
Regular classes onMonday, Wednesday, Friday
About the Teacher
Satprem Das
About the Teacher
श्रीमान सत्प्रेम प्रभु जी इस्कॉन भागवत महाविद्यालय, गोवेर्धन में आध्यत्मिक शिक्षक है।
आधात्मिक योग्यता-
1-भक्ति शास्त्री
2-भक्ति वैभव
3-भक्ति वेदांत (अध्यनरत)
शैक्षणिक योगयता-
1-कला स्नातक (भोपाल, म.प.)
2-होटल मैनेजमेंट में स्नातक (दिल्ली)
3-अनुभव-अनेक वर्षों तक मुम्बई के 5 स्टार होटलों में अनेक वर्षों तक सेवाएं दी है ।
उनके निजी जीवन में आश्चर्यजनक घटनाओं की श्रृंखलाओ के बाद आध्यात्मिकता के प्रति उनका झुकाव हो गया था वे कृष्णभावना में आने का सारा श्रेय कृष्ण को तथाकथित नकारात्मक स्थितियों की श्रृंखला बनाने के लिए और जिन भक्तो ने उनका सहयोग किया उनको देते है, विशेष रूप से उनकी कृष्ण भक्त माता जी को।
विशेष आकर्षण-
कृष्णभावनामृत में आने के बाद उन्होंने दृढ़ संकल्प के साथ सफल योद्धा की तरह संघर्ष किया, क्योंकि उन्हें पार्किंसंस की लाइलाज बीमारी ने घेर लिया था। लेकिन जैसे ही उन्होंने श्रीमद्भागवत का अध्ययन करना शुरू किया उनका स्वास्थ्य ठीक हो गया और अब उनका जीवन श्रीमद्भागवत के अध्ययन की करुणा का जीता-जागता उदाहरण है।
Course Overview
कोर्स विवरण:
व्रन्दावन महिमा का गुणगान, ब्रज रज का गुणगान, ब्रजवासियों का गुणगान।
कोर्स सामग्री:
प्रभूपाद तातपर्य और आचार्यो की टीका के आधार पर।
लक्षित दर्शक:
सभी तरह की पृष्ठभूमि से (all sort of background)
छात्रों के लिए महत्वपूर्ण दिशानिर्देश:
अपनी उपस्थिति सुनिश्चित करे।
इस कोर्स से छात्रों को क्या लाभ होगा?
- ब्रज धाम की पूर्ण समझावत ।
- धाम में भृमण करने या निवास करने के सिद्दांत
- ब्रजवासियों से कैसे व्यवहार करें।
- कैसे धाम अपराध से बचे।
- ब्रज के प्रमुख दर्शनीय मंदिर
- कैसे ब्रज वासी की पहचान करे ?
इस पाठ्यक्रम को क्यों अटेंड करना चाहिए?
- जीवन की सभी समस्याओ को हल करने के लिए।
- मानसिक बल प्राप्त करने के लिए ।
- बुद्धि को सुदृढ बनाने के लिए।
- विवेक जाग्रत करने के लिए।
- ब्रज चक्षु प्राप्त करने के लिए
- ब्रज वासियों के महत्त्व समझने के लिए
- भगवान के प्रति प्रेम मयि भावनाएं जाग्रत करने के लिए
- कृष्ण भक्ति में तीब्रता के साथ बल प्राप्त करने के लिए
इस कोर्स के माध्यम से हल होने वाली समस्याएँ:
- विवेक जाग्रति
- आधात्मिक प्रगति
- आत्मविश्वास में वृद्धि
- ह्रदय की कमजोरी दूर होगी
- मानसिक व्यथा दूर होगी
- ह्रदय प्रफुल्लित होगा ।